हेमकुंड साहिब उत्तराखंड के चमोली जिले में स्थित एक सिख गुरुद्वारा है। यह सिखों के लिए एक पवित्र तीर्थस्थल है और इसे दसवें सिख गुरु, गुरु गोबिंद सिंह जी की तपोस्थली माना जाता है। हेमकुंड साहिब समुद्र तल से 15,200 फीट की ऊंचाई पर स्थित है और हिमालय पर्वत श्रृंखला से घिरा हुआ है।
यदि आप भी इस साल हेमकुंड साहिब की यात्रा की योजना बना रहे है तो हम यहाँ आपको बतायेंग की आप हेमकुंड साहिब कैसे पहुंचे, यात्रा कितनी किलोमीटर की है , यात्रा के पड़ाव कौन से है , हेमकुंड साहिब की यात्रा का क्या महत्व है , यात्रा कितने दिनों में पूरी होगी ओर कितना खर्चा होगा |
गुरुद्वारा श्री हेमकुंड साहिब (चमोली, उत्तराखंड)
हेमकुंड साहिब उत्तराखंड के चमोली जिले में सिखों का एक प्रसिद्ध तीर्थ स्थान है ,जो की दुनिया का सबसे ऊँचा गुरुद्वारा है | हर साल बड़ी संख्या में सिख लोग यहाँ दर्शन के लिए आते है | इस साल हेम कुंड साहिब की यात्रा 25 मई से शुरू हो रही है |
हेमकुंड साहिब के पास उत्तराखण्ड का बड़ा प्रसिद्ध पर्यटन स्थल फूलों की घाटी भी है जो की घाघरिया से 4 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा सिखों के दसवे गुरु गोविन्द सिंह जी को समर्पित है।
हेमकुंड साहिब की यात्रा को सिखों की सबसे कठिन तीर्थयात्रा माना जाता है। हेमकुंड का अर्थ है बर्फ के पानी का कुंड है , तीर्थ यात्री इस कुण्ड में डुबकी भी लगते है और माना जाता है कि इस कुंड के पास गुरु गोविन्द सिंह ने सालों तक अपनी सधाना की थी |
हेमकुंड साहिब के कपाट कब खुल रहे हैं?
प्रत्येक वर्ष गुरुद्वारा श्री हेमकुंड साहिब के कपाट 25 मई को 12 बजे से 10 अक्टूबर तक दर्शन के लिए खोले जाते हैं। हेमकुंड साहिब की यात्रा 25 मई 2024 से शुरू होने जा रही है
हेमकुंड साहिब के कपाट कब बन्द होंगे – 2024
श्री हेमकुंड साहिब की इस साल की यात्रा 25 मई 2024 को शुरू होगी और 10 अक्टूबर 2024 को तक चलेगी |
हेमकुंड साहिब 2024 कपाट खुलने की तिथि | 20 मई 2024 |
हेमकुंड साहिब 2023 कपाट बंद होने की तिथि | 10 अक्टूबर 2024 |
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब की दूरी (Rishikesh to Hemkund Sahib Distance) :-
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब की दूरी लगभग 291 किलोमीटर है| आप ऋषिकेश से अपनी गाड़ी से या बस से सुबह के समय जोशीमठ जो की ऋषिकेश से 251 किलोमीटर है पहुंच सकते हैं, यदि आपके पास समय है तो आप जोशीमठ की बजाय गोविंद घाट पहुंच सकते हैं जो की जोशीमठ से मात्र 20 किलोमीटर दूर है| यहाँ आप शेयरिंग टैक्सी से पहुच सकते है |
पहले दिन आप गोविंद घाट में ही आराम करें गोविंद घाट में गुरूद्वारे में ठहरने के लिए सबसे बढ़िया साधन है इसके अलावा गोविंद घाट में आपको होटल भी मिल जाएंगे| दुसरे दिन सुबह आप गोविंद घाट से पुलना गाँव के लिए अपनी गाड़ी या बाइक से जा सकते हैं | पुलना गाँव ही वह आखिरी स्थान है जहां तक आप गाड़ी या मोटरसाइकिल से पहुंच सकते हैं उसके पश्चात सड़क मार्ग नहीं है और आपको पैदल यात्रा ही करनी पड़ेगी | गोविंदघाट से पुलना गाँव लगभग 4 किलोमीटर दूर है यहां पर आप शेयरिंग टैक्सी से ₹50 में भी पहुंच सकते हैं|
हेमकुंड साहिब rout map :-
पुलना गाँव से ही हेमकुंड साहिब की यात्रा का पैदल ट्रेक शुरू होता है। पुलना गाँव से लगभग 10 किलोमीटर का सामान्य ट्रेक कर घांघरिया ( गोविन्द धाम भी कहते है , यहाँ पर भी गोविन्द धाम गुरुद्वारा है ) पहुंचा जाता है।
रात्रि को घांघरिया में आराम करे , यहाँ पर गोविन्द धाम गुरुद्वारा या कुछ होटल ठहरने के लिय मिल जायेंगे | यहां पर ठहरने के लिए होटल आसानी से मिल जाते हैं फिर भी आप चाहे तो होटल एडवांस में बुक कर सकते हैं, हालांकि गुरुद्वारा में ठहरना एक किफायती विकल्प हो सकता है|
आप चाहे तो पुलना गाँव से घोड़े ,खचर से भी यात्रा करके गोविंद घाट पहुंच सकते हैं पुलना गाँव से घंगारिया तक की10 किलोमीटर में से लगभग तीन-चार किलोमीटर यात्रा समतल है और बाकी की यात्रा खड़ी चढ़ाई की है इसीलिए अगर आपको पैदल चलने का ज्यादा अनुभव नहीं है पुलना गाँव से ही आप घोड़े या खच्चर कर ले|
तीसरे दिन सुबह-सुबह ही घांघरिया से हेमकुंड साहिब के लिए अपनी पैदल यात्रा शुरू करें | घांघरिया से हेमकुंड साहिब की 6 किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई वाली यात्रा है यह यात्रा काफी कठिन है मार्ग में दो-तीन किलोमीटर के बाद ही खाने पीने की कुछ दुकानें हैं, आप चाहे तो घंगरिया से ही यात्रा के लिए घोड़े या खच्चर बुक करके जा सकते हैं |
अपने पैदल चलने के अनुभव के हिसाब से आप चार से पांच घंटे में हेमकुंड साहिब पहुंच जाएंगे, हेमकुंड साहिब में रुकने का कोई साधन नहीं है इसीलिए आपको शाम तक वापस आना है और आप शाम को घंगारिया में या गोविंद घाट में कहीं भी रुक सकते हैं|
हेमकुंड साहिब दूरी :-
स्थान | हेमकुंड साहिब से दूरी |
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बद्रीनाथ से हेमकुंड साहिब की दूरी | 25 किमी |
माणा गांव से हेमकुंड साहिब की दूरी | 31 किमी |
नैनीताल से हेमकुंड साहिब की दूरी | 288 किमी |
घांघरिया हेमकुंड साहिब की दूरी | 6 किमी |
कर्णप्रयाग से हेमकुंड साहिब की दूरी | 98 किमी |
तुंगनाथ से हेमकुंड साहिब की दूरी | 112 किमी |
रुद्रप्रयाग से हेमकुंड साहिब की दूरी | 130 किमी |
जोशीमठ से हेमकुंड साहिब की दूरी | 20 किमी |
चोपता से हेमकुंड साहिब की दूरी | 151 किमी |
गुप्तकाशी से हेमकुंड साहिब की दूरी | 160 किमी |
देवप्रयाग से हेमकुंड साहिब की दूरी | 195 किमी |
पौड़ी से हेमकुंड साहिब की दूरी | 190 किमी |
सोनप्रयाग से हेमकुंड साहिब की दूरी | 186 किमी |
रानीखेत से हेमकुंड साहिब की दूरी | 230 किमी |
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब की दूरी | 291 किमी |
अल्मोडा से हेमकुंड साहिब की दूरी | 252 किमी |
हरिद्वार से हेमकुंड साहिब की दूरी | 320 किमी |
दिल्ली से हेमकुंड साहिब की दूरी | 549 किमी |
चंडीगढ़ से हेमकुंड साहिब की दूरी | 495 किमी |
लुधियाना से हेमकुंड साहिब की दूरी | 631 किमी |
जालंधर से हेमकुंड साहिब की दूरी | 655 किमी |
हेमकुंड साहिब की यात्रा के लिए आप ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन उत्तराखंड पर्यटन की वेबसाइट से कर सकते हैं इसके अलावा ऋषिकेश के हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा, गोविंद घाट, पालना गांव में भी रजिस्ट्रेशन बूथ बने हैं आप वहां से भी हेमकुंड साहिब की यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं हालांकि ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना ही सबसे बढ़िया रहता है | हेमकुंड साहिब की यात्रा के लिए यात्रियों की बस ऋषिकेश गुरुद्वारा से भी रवाना होती है।
हेमकुंड साहिब (How to reach )कैसे पहुंचे |
हेमकुंड साहिब पहुंचने के दो तरीके हैं:-
- हवाई मार्ग से:- आप अपने शहर से हवाई जहाज से देहरादून में आ सकते हैं और फिर देहरादून के सहस्त्रधारा से आप या तो प्राइवेट हेलीकॉप्टर बुक करके घांघरिया हेलीकॉप्टर से पहुंच सकते हैं उसके पश्चात 6 किलोमीटर पैदल यात्रा| हेमकुंड साहिब पहुंचने का हवाई मार्ग से दूसरा साधन है कि आप अपने शहर से देहरादून हवाई जहाज से पहुंचे और फिर देहरादून से कर बस या प्राइवेट टैक्सी से हरिद्वार ऋषिकेश होते हुए हेमकुंड साहिब सड़क मार्ग से पहुंचे| तीसरा साधन है कि आप अपने शहर से बस या कर से गोविंद घाट तक पहुंचे और फिर गोविंद घाट से हेलीकॉप्टर से घांघरिया तक उड़ान भर और फिर वहां से पैदल यात्रा
- सड़क मार्ग से:- हेमकुंड साहिब पहुंचने का सबसे प्रसिद्ध साधन सड़क मार्ग से, आप अपने शहर से सड़क मार्ग से या ट्रेन के माध्यम से सबसे पहले ऋषिकेश पहुंचे फिर ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब पहुंचने के लिए सड़क मार्ग से आप बस से, टैक्सी से या फिर मोटरसाइकिल से 291 किलोमीटर की यात्रा कर पहुंच सकते हैं|
रेलवे मार्ग द्वारा हेमकुंड साहिब कैसे पहुंचे | How to reach Hemkund Sahib by train
हेमकुंड साहिब के लिए निकटतम रेलवे स्टेशन ऋषिकेश है, जो गोविंदघाट से 271 किमी दूर है। गोविंदघाट से हेमकुंड साहिब तक 20 किमी की पैदल दूरी तय करनी पड़ती है। ऋषिकेश/ हरिद्वार रेलवे स्टेशन भारत के विभिन्न शहरों से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है।
दिल्ली से ऋषिकेश तक कुल 15 ट्रेनें चलती हैं, जिनमें से कुछ प्रमुख ट्रेनें इस प्रकार हैं:
- योग एक्सप्रेस
- उदयपुर सिटी – योग नगरी ऋषिकेश एक्सप्रेस
- कोचुवेली – योग नगरी ऋषिकेश एक्सप्रेस
- नई दिल्ली – देहरादून शताब्दी एक्सप्रेस
- मसूरी एक्सप्रेस
- बन्दे भारत एक्सप्रेस
- उज्जैन एक्सप्रेस
हवाई मार्ग द्वारा हेमकुंड साहिब ( by Air ) कैसे पहुंचे
हवाई मार्ग से हेमकुंड साहिब पहुँचने के लिए निकटतम हवाई अड्डा देहरादून का जॉलीग्रांट हवाई अड्डा है ओर भारत के प्रमुख शहरों से देहरादून के जॉली ग्रांट हवाई अड्डे के लिए सभी प्रमुख हवाई जहाज कंपनी जैसे एयर इंडिया, इंडिगो द्वारा हवाई सेवा उपलब्ध है| देहरादून पहुंचने के बाद आप यहां से कार या बस के माध्यम से हेमकुंड साहिब पहुंच सकते हैं जो की देहरादून से 311 किलोमीटर दूर है|
इसके अलावा आप उत्तराखंड सरकार द्वारा हाल ही में शुरू की गई उड़ान सेवा के तहत छोटे जहाज के माध्यम से भी देहरादून से गोचर तक हवाई मार्ग से पहुंच सकते हैं जो की 40 मिनट में आपको कोचर पहुंचा देगा जिसका किराया लगभग ₹4000 है और फिर गोचर से आप आसानी से हेमकुंड साहिब सड़क मार्ग से पहुंच सकते हैं|
हेलीकाप्टर द्वारा हेमकुंड साहिब ( Hemkund Sahib by Helicopter) कैसे पहुंचे
- देहरादून से घांघरिया :- हेमकुंड साहिब हेलीकॉप्टर से पहुंचने का पहला साधन है देहरादून से घांघरिया तक हेलीकॉप्टर की यात्रा| इसके लिए सरकार ने किसी एजेंसी को अधिकृत नहीं किया है लेकिन अधिकतर प्राइवेट टूर ऑपरेटर हेलीकॉप्टर की सेवा प्रदान करते हैं जिसका किराया रु 50,000 से एक लाख तक हो सकता है| यह हेलीकॉप्टर सेवा देहरादून के सहस्त्रधारा से आपको 50 मिनट में घांघरिया हेलीपैड तक पहुंचा देगी और फिर शाम को वापस देहरादून में छोड़ देगी|
- गोविंद घाट से घांघरिया तक:- हर साल उत्तराखंड सरकार द्वारा गोविंद घाट से घांघरिया तक यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर कंपनी का चयन किया जाता है इस साल भी सरकार द्वारा इसका चयन कर इसकी सूचना सरकार की वेबसाइट पर डाल दी है| पिछले साल गोविंद घाट से घांघरिया गंगोरिया तक का एक तरफ का किराया लगभग 2900 रुपए था जो की इस साल रु 2780 है , आप चाहे तो एक तरफ की हेलीकॉप्टर यात्रा भी बुक कर सकते हैं| गोविंद घाट से हेलीकॉप्टर आपको 5 से 7 मिनट में घांघरिया पहुंचा देगा और फिर वहां से आपको, 6 किलोमीटर की पैदल यात्रा कर हेमकुंड साहिब जाना पड़ेगा| गोविंद घाट में ऑफलाइन हेलीकॉप्टर बुकिंग की सुविधा भी उपलब्ध है|
हेमकुंड साहिब हेलीकाप्टर किराया -2024 | Hemkund Sahib by Helicopter ticket price
आप irctce की वेबसाइट से हेमकुंड साहिब के लिए हेलीकाप्टर की बुकिंग करे सकते है जिसकी बुकिंग 22 मई 2024 से शुरू होगी | हेमकुंड साहिब का हेलीकाप्टर से गोविन्द घाट से घघारिया तक का हेलीकाप्टर का किराया रु 5560 है |
हेमकुंड साहिब हेलीकाप्टर बुकिंग एक नजर में -2024
Shri Hemkund Sahib Helicopter booking -2024 | |
Start Date- | 22 May-2024 at 12:00 Noon |
For Period – | 25th May 2024 – 10th October 2024 |
From- | Govindghat – Ghangaria |
Travel estimate Time- | 7 Minutes |
Operators- | Pawan Hans |
Round Trip fare – | Rs.5560 |
One Side Fare | Rs2780 |
Booking Link:- | IRCTC HeliYatra |
हेमकुंड साहिब में घोड़े/ डंडी का किराया | Ponny/ Dandi Rates in Hemkund Sahib
घांघरिया या गोविंद धाम भी जिसको कहते हैं से हेमकुंड साहिब की 6 किलोमीटर की पैदल यात्रा काफी कठिन है आप चाहे तो अपनी सुविधा अनुसारघांघरिया या गोविंद धाम से हेमकुंड साहब के लिए घोड़े या डंडी के माध्यम से भी यात्रा कर सकते हैं|
घांघरिया या गोविंद धाम से हेमकुंड साहिब तक घोड़े के आने-जाने और डंडी के किराया इस प्रकार से है:-
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब कैसे पहुंचे | How to reach Hemkund Sahib from Rishikesh
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब पहुंचने की कई सारे साधन है जिसमें से पहले साधन आप ऋषिकेश हेमकुंड गुरुद्वारे में जाकर अपना रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं और वहां से गुरुद्वारे की बस आपको हेमकुंड साहिब की यात्रा के लिए गोविंद घाट में छोड़ देगी, अगला साधन ऋषिकेश से बस से जोशीमठ तक जाना है|
इसके अलावा आप अपनी टैक्सी बुक करके या फिर शेयरिंग टैक्सी के माध्यम से या अपनी गाड़ी से भी ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब जा सकते हैं | इसके अलावा बहुत सारे यात्री मोटरसाइकिल से भी हेमकुंड साहिब की यात्रा पूरी करते हैं हम इन सभी के बारे में विस्तार से बात करेंगे|
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब पहुँचने के लिए बस, टैक्सी बुकिंग, शेयर टैक्सी और हेलीकाप्टर द्वारा पहुंचा जा सकता है। ऋषिकेश सब स्टैंड और नटराज चौक से बस और टैक्सी सुविधा मिल जाती है।
बस से हेमकुंड कैसे पहुंचे | Rishikesh to Hemkund by bus
हेमकुंड साहिब पहुंचने का सबसे आसान तरीका बस के माध्यम से आप ऋषिकेश के नटराज चौक या मुख्य बस स्टेशन से उत्तराखंड परिवहन निगम की बस या अन्य कोई प्राइवेट बस पकड़ कर 8 से 9 घंटे में जोशीमठ पहुंच सकते हैं| ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब के लिए बस सुबह 9:00 बजे से पहले ही मिलती है, यात्रा सीजन के दौरान उत्तराखंड परिवार निगम की बस आप ऑनलाइन भी बुक कर सकते हैं| जोशीमठ पहुंचने के बाद आप शेयरिंग टैक्सी से गोविंदघाट और पुलना गांव तक पहुंच सकते हैं और फिर पुलना गांव से हेमकुंड साहिब की पैदल यात्रा शुरू होती है |
ऋषिकेश से जोशीमठ बस ( Bus Fare/Price) का किराया –
ऋषिकेश से जोशीमठ के लिए उत्तराखंड परिवहन निगम का बस का किराया ₹500 से लेकर ₹700 तक है वहीं प्राइवेट बस का किराया आपको 600 से लेकर ₹900 तक है|
टैक्सी द्वारा हेमकुंड कैसे पहुंचे | Rishikesh to Hemkund by taxi
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब जाने के लिए आप फुल टैक्सी बुक करवा कर जोशीमठ पहुँच सकते हैं। ऋषिकेश के मुख्य बस स्टैंड से आप जोशीमठ के लिए शेयर टैक्सी भी ले सकते है जिसका किराया रु 1200 तक रहता है |
टैक्सी बुकिंग द्वारा ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब का किराया | Rishikesh to hemkund sahib taxi fare
ऋषिकेश से जोशीमठ-हेमकुंड साहिब जाने का माध्यम टैक्सी भी है अगर आप तीन से चार व्यक्ति हैं तो आप हेमकुंड साहिब के लिए ऋषिकेश से टैक्सी बुक कर सकते हैं, वैसे तो आप ऋषिकेश पहुंच कर टैक्सी स्टैंड से टैक्सी बुक कर सकते हैं | ऋषिकेश से जोशीमठ-हेमकुंड साहिब का टैक्सी का किराया यात्रा सीजन में 6000 से लेकर 8000 के बीच में रहता है| आप चाहे तो बड़ी वेबसाइटों से एडवांस में भी टैक्सी बुक कर सकते हैं|
शेयर टैक्सी द्वारा ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब का किराया | Share taxi seat price from Rishikesh to Hemkund Sahib :
ऋषिकेश से जोशीमठ-हेमकुंड साहिब शेयरिंग टैक्सी का किराया लगभग ₹1000 से ₹1500 तक है |
हेमकुंड साहिब पहुँचने का ( best time to visit) सबसे अच्छा समय कौन से है ?
हेमकुंड साहिब जाने का सबसे वक्त मई और जून और अक्टूबर के बीच रहता है क्जुयोंकि लाई , अगस्त और सितंबर में भारी बारिश के कारण हेमकुंड साहिब की यात्रा कठिन हो जाती है और अक्टूबर के बाद यहां पर भारी बर्फबारी के कारण हेमकुंड साहिब का कपाट बंद कर दिए जाते हैं | हालांकि यात्रा के दौरान हेमकुंड साहिब में मौसम काफी ठंडा रहता है इसीलिए आप अपने साथ हमेशा गर्म कपड़े लेकर चलें|
हेमकुंड साहिब का इतिहास ( History)
हेमकुंड साहिब सिखों के लिए एक महत्वपूर्ण तीर्थ स्थल है। इसका इतिहास सदियों पुराना है और धर्मग्रंथों तथा रोचक कहानियों से जुड़ा हुआ है।
हेमकुंड साहिब :- एक पवित्र स्थान के रूप में महत्व:
- हेमकुंड साहिब को सिखों के दसवें गुरु, गुरु गोबिंद सिंह जी से विशेष महत्व प्राप्त है। ऐसा माना जाता है कि गुरु गोबिंद सिंह जी ने यहां तपस्या की थी।
- दसम ग्रंथ, जिसे गुरु गोबिंद सिंह जी द्वारा रचित माना जाता है, में हेमकुंड का उल्लेख मिलता है। ग्रंथ के अनुसार, यह वह स्थान है जहां पाण्डु राजा योगाभ्यास करते थे।
- कुछ मान्यताओं के अनुसार, गुरु गोबिंद सिंह जी को भगवान ने यहीं पर जन्म लेने का आदेश दिया था।
हेमकुंड साहिब की खोज:–
- माना जाता है कि हेमकुंड साहिब दो सदी से अधिक समय तक गुमनामी में रहा।
- गुरु गोबिंद सिंह जी की आत्मकथा “बिचित्र नाटक” में इस स्थान का उल्लेख मिलने के बाद इसे दोबारा खोजा गया।
- 19वीं सदी में पंडित तारा सिंह नरोत्तम पहले सिख थे जिन्होंने हेमकुंड की भौगोलिक स्थिति का पता लगाया। उन्होंने इसे 508 सिख धार्मिक स्थलों में से एक के रूप में वर्णित किया।
- बाद में भाई वीर सिंह जैसे विद्वानों ने हेमकुंड साहिब के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
हेमकुंड साहिब –गुरुद्वारा का निर्माण:
- गुरु गोबिंद सिंह जी की याद में हेमकुंड साहिब में एक गुरुद्वारा बनाया गया है।
- गुरुद्वारे के पास एक सरोवर भी स्थित है।
हेमकुंड साहिब –नामकरण:
- हेमकुंड जो दो शब्दों “हेम” (बर्फ) और “कुंड” (तालाब ) से मिलकर बना है।
- यह सफेद संगमरमर और कंक्रीट से बना हुआ तारे के आकार का गुरुद्वारा है, जो गढ़वाल पहाड़ों से घिरा हुआ है। सर्दियों के दौरान अक्टूबर से अप्रैल तक गुरुद्वारा बंद हो जाने से पहले पूरे भारत से पर्यटक और श्रद्धालु यहां आते हैं।
- हेमकुंड के इतिहास के अनुसार, इसे स्थानीय रूप से “लोकपाल” के नाम से जाना जाता था, जिसका अर्थ है “लोगों का पालनहार”। यह गुरु गोबिंद सिंह जी, सिखों के दसवें गुरु को समर्पित है, जिन्होंने यहां लगभग 10 वर्षों तक ध्यान किया था।
अधिक जानकरी के लिए यहाँ देखे
हेमकुंड में कहाँ रुकें | Hotels to stay in Hemkund
हेमकुंड साहिब में रोकने की कोई व्यवस्था नहीं है इसीलिए आपको अपनी दिनभर की यात्रा के पश्चात शाम को वापस आकर घांघरिया में ही रुकना होगा, घांघरिया(गोविन्द धाम ) में रुकने के लिए गोविंद धाम गुरुद्वारा ओर कई सारे होटल होमस्टे आदि आपको आसानी से मिल जाएंगे|
घांघरिया-हेमकुंड का तापमान | Ghanghariya Hemkund temperature today |
हेमकुंड साहिब में मौसम:
- गर्मी: अप्रैल से मध्य जून तक का समय हेमकुंड साहिब में गर्मी का होता है। इस दौरान तापमान सुखद होता है और यात्रा के लिए आदर्श होता है।
- मानसून: मानसून का मौसम जुलाई के पहले सप्ताह में शुरू होता है और सितंबर के मध्य तक रहता है। इस दौरान अच्छी बारिश होती है।
- सर्दी: नवंबर के मध्य से मार्च के अंत तक हेमकुंड साहिब में सर्दी का मौसम होता है। इस दौरान तापमान बहुत कम होता है और बर्फबारी भी होती है।
Hemkund Sahib Live Weather Update
बद्रीनाथ से हेमकुंड साहिब यात्रा | Badrinath to Hemkund Sahib Yatra
आप बद्रीनाथ से हेमकुंड की यात्रा भी कर सकते हैं ,बद्रीनाथ धाम से हेमकुंड की दूरी लगभग 25 किलोमीटर है। बद्रीनाथ से आपको जोशीमठ आना होगा और फिर जोशीमठ से शेयरिंग टैक्सी से गोविंद घाट, पुलना-घांघरिया पहुंचा जाता है।
इसके अलावा अगर आप यात्रा पैकेज लेते हैं हेलीकॉप्टर के द्वारा बद्रीनाथ हेलीपैड से घांघरिया हेलीपैड हेलीकॉप्टर के माध्यम से भी पहुंचा जा सकता है|
हेमकुंड साहिब ट्रेकिंग यात्रा का एक सुझाव कार्यक्रम -(Hemkund Sahib Trek detail Itinerary)
यह एक सुझावित यात्रा कार्यक्रम जो की आपको हेमकुंड साहिब और फूलों की घाटी के दर्शन कराने में आपकी सहायता करेगा।
दिन 1: हरिद्वार /ऋषिकेश से सड़क मार्ग द्वारा गोविंदघाट या जोशीमठ पहुंचें। रात का ठहराव गोविंदघाट या जोशीमठ में। अगर आप जोशीमठ समय पर पहुच गए है तो गोविन्द घाट में पहुचकर रात्रि में वही रुके | ( कुल दूरी -271 किलोमीटर )
दिन 2: गोविंदघाट से पुलना ( शेयरिंग टैक्सी- 4 किलोमीटर ) ओर फिर घांघरिया तक ट्रेक (10 किमी)। रात का ठहराव घांघरिया में। गोविन्द घाट गुरुद्वारा या अन्य होटल उपलब्ध |
दिन 3: घांघरिया से हेमकुंड साहिब तक 6 किलोमीटर ट्रेक और वापसी (आप घोड़े पर भी जा सकते हैं)। रात का ठहराव घांघरिया में।
Optional
दिन 4: आप अगले दिन घांघरिया से फूलों की घाटी तक ट्रेक और वापसी ( 4+4 किलोमीटर ) समय 2-3 घंटे जाने में | वापसी में गोविन्द घाट या घांघरिया में रुक सकते है |
दिन 5: घांघरिया /गोविंदघाट/जोशीमठ तक वापसी ट्रेक| घांघरिया से गोविन्द घाट 14 किलोमीटर – फिर जोशीमठ 20 किलोमीटर पर जोशीमठ में सुबह 6 बजे के बाद बस नहीं मिलती , अत रात्रि जोशीमठ में आराम , यदि अपनी गाड़ी है तो यात्रा शुरू कर सकते है |
दिन 6: हरिद्वार /ऋषिकेश या देहरादून के लिए बस से यात्रा |
हेमकुंड साहिब के आसपास (Place nearby) घूमने के लिए दर्शनीय स्थल
हेमकुंड साहिब के आसपास कई दर्शनीय स्थल हैं जिनमें आप अपनी यात्रा के दौरान घूम सकते हैं।
- वैली ऑफ फ्लावर्स: यह एक राष्ट्रीय उद्यान है जो हेमकुंड साहिब से लगभग 4 किमी दूर स्थित है। यह अपनी प्राकृतिक सुंदरता और विभिन्न प्रकार के फूलों के लिए जाना जाता है।
- लक्ष्मण मंदिर: यह मंदिर भगवान श्री राम जी के भाई लक्ष्मण को समर्पित है। यह हेमकुंड साहिब से लगभग 2 किमी दूर स्थित है।
- बद्रीनाथ: 3,100 मीटर की ऊंचाई पर स्थित भारत का पवित्र धाम। 9वीं शताब्दी में आदि शंकराचार्य द्वारा स्थापित। अलकनंदा नदी के तट पर भगवान विष्णु का मंदिर। मई से अक्टूबर तक खुला रहता है। गोविंदघाट से 25 किमी आगे।
- माणा गाँव : भारत के अंतिम गांवों में से एक। भारत-मंगोलियाई जनजातियां यहां रहती हैं। भीम पुल, व्यास गुफा दर्शनीय स्थल हैं। बद्रीनाथ से 3 किमी दूरी |
- जोशीमठ : आदि शंकराचार्य द्वारा निर्मित चार मठों में से एक। सर्दियों में श्री बद्रीनाथ का धाम। कल्पवृक्ष और नरसिंह मंदिर । गोविंदघाट से 20 किमी पहले।
- औली: उत्तराखंड का सबसे लोकप्रिय स्कीइंग और पैराग्लाइडिंग स्थल। एशिया की सबसे लंबी रोपवे के जरिए जोशीमठ से जुड़ा है। गोविंदघाट से लगभग 40 किमी दूर।
हेमकुंड साहिब की चढ़ाई कितने किलोमीटर की है?
गोविन्द घाट से 20 किलोमीटर की पैदल यात्रा करके हेमकुंड साहिब की चढाई पूरी होती है |
हेमकुंड साहिब के पास कौन सा मंदिर है?
हेमकुंड साहिब से 2 किलोमीटर दूर एक मंदिर है जो की भगवन श्री राम के भाई लक्ष्मण को समर्पित है | हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, हेमकुंड साहिब को “लोकपाल” के नाम से जाना जाता था, जहाँ युद्ध के बाद स्वस्थ होने के लिए भगवान राम के छोटे भाई लक्ष्मण ने ध्यान लगाया था। पर्यटक हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे के साथ-साथ इस मंदिर के भी दर्शन करते हैं।
हेमकुंड साहिब के लिए कितने दिन चाहिए?
हेमकुंड साहिब की यात्रा के लिए आपको कम से कम चार से पाँच दिन चाहिए| पहले दिन हरिद्वार से गोविंद घाट, दूसरे दिन गोविंदघाट से घांघरिया और फिर तीसरे दिन घांघरिया से हेमकुंड साहिब और फिर चौथे दिन हेमकुंड साहिब से वापसी| हालांकि हेलीकॉप्टर से आप यह यात्रा एक दिन में पूरी कर सकते हैं|
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब की दूरी कितनी है
ऋषिकेश से हेमकुंड साहिब की दूरी 291 किलोमीटर की है|
गोविंदघाट से हेमकुंड साहिब की दूरी कितनी है
गोविंद घाट से हेमकुंड साहिब की दूरी 20 किलोमीटर है जिसमे की 4 किलोमीटर गाड़ी से और 14 किलोमीटर पैदल ट्रैक है |
बद्रीनाथ से हेमकुंड साहिब दूरी कितनी है |
बद्रीनाथ हेमकुंड से हेमकुंड साहिब की दूरी लगभग 25 किलोमीटर है|
हरिद्वार से हेमकुंड साहिब की दूरी कितनी है ?
हरिद्वार से हेमकुंड साहिब की दूरी 320 किलोमीटर है |
हेमकुंड साहिब जाने का रास्ता कौन सा है ?
हेमकुंड साहिब जाने का रास्ता इस प्रकार है -अपने शहर से > ऋषिकेश > ऋषिकेश से जोशीमठ > गोविन्द घाट > घांघरिया > हेमकुंड साहिब .
विस्तृत जानकारी देने के लिए आपको साधुवाद ।
thanks sir